Uttarkashi Tunnel Rescue | जीतेगी जिंदगी! सिलक्यारा टनल के अंदर फंसे 41 मजदूर जल्द आएंगे बाहर, होगी वर्टिकल ड्रिलिंग, ऐसे होगा रेस्क्यू
Firenib
नई दिल्ली/उत्तरकाशी: जहां एक तरफ उत्तराखंड (Uttrakhand) के उत्तरकाशी (Uttarkashi) में सिल्क्यारा टनल (Silkyara tunnel) हादसे को आज 10 दिन पूरे हो चुके हैं, लेकिन अभी भी मजदूर सुरंग के अंदर ही फंसे हुए हैं। हालांकि इस महत्वपूर्ण मामले में बीते मंगलवार सुबह बचाव दल को बड़ी सफलता हाथ लगी है। दरअसल सुरंग में फंसे मजदूरों में से कुछ ने सुरंग में फंसने के बाद आज पहली बार अपने परिवार वालों से बातचीत की थी। तब मजदूरों ने 6 इंच की पाइपलाइन के जरिए अपने घर वालों से बातचीत की थी।
#WATCH | Uttarkashi (Uttarakhand) tunnel rescue | Location has been identified for vertical drilling to bring out 41 workers trapped inside Silkyara Tunnel.
A part of the Silkyara tunnel collapsed in Uttarkashi on November 12. pic.twitter.com/EPYq0eEBNE
— ANI (@ANI) November 22, 2023
इसके साथ ही आज सिलक्यारा टनल के अंदर फंसे 41 श्रमिकों को बाहर निकालने के लिए वर्टिकल ड्रिलिंग के लिए स्थान की पहचान कर ली गई है। आइसे में अब जल्द ही यहां वर्टिकल ड्रिलिंग कार्य शुरू होगा।दरअसल अब रेस्क्यू ऑपरेशन के लिए टीम ने नई रणनीति बनाई है। इसके तहत आठ एजेंसियां- NHIDCL, ONGC, THDCIL, RVNL, BRO, NDRF, SDRF, PWD और ITBP एक साथ 5 तरफ से टनल में ड्रिलिंग कर रही हैं। ऐसे में जल्द ही आज वर्टिकल ड्रिलिंग भी शुरू होगी।
#WATCH उत्तरकाशी (उत्तराखंड): 12 नवंबर को सिलक्यारा सुरंग का एक हिस्सा ढह जाने के बाद फंसे हुए 41 श्रमिकों को बचाने के लिए बचाव अभियान जारी है। pic.twitter.com/zUbXPb1J32
— ANI_HindiNews (@AHindinews) November 22, 2023
इसके साथ ही डिफेंस रिसर्च डेवलपमेंट ऑर्गेनाइजेशन (DRDO) की रोबोटिक्स टीम ने ‘रिमोटली ऑपरेटेड व्हीकल’ (ROV) तैनात हो चूका है। इस ROV का नाम ‘दक्ष’ है। वहीं अब इस ROV के जरिए सुरंग में फंसे हुए लोगों की मदद की जा रही है।
जानकारी दें की बीते 12 नवंबर को सिल्क्यारा से बारकोट तक एक सुरंग के निर्माण के दौरान सुरंग के 60 मीटर के हिस्से में मलबा गिरने के चलते 41 मजदूर इसमें फंस गए। बता दें कि यह मजदूर 2 किमी निर्मित सुरंग के हिस्से में फंसे हुए हैं, जो कंक्रीट के काम से भरा हुआ है और मजदूरों को सुरक्षा प्रदान करता है। सुरंग के इस हिस्से में बिजली और पानी की भी पर्याप्त सुविधा है। वहीँ जल्द ही इन मजदूरों को सुरक्षित निकलने की कोशिश की जा रही है।
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